रवीश, सेक्यूलरिज़्म की बातें लोग करते ही रहते हैं,लेकिन 'जूस वाले भैया' से ज़्यादा सेक्युलर कौन होगा! रोज़ी-रोटी के लिये ना तो उसे श्री राम से परहेज़ है, ना ही शाहरुख खान से और ना ही उन्हें समानांतर रख देने पर(वैसे ये कॉम्बिनेशन और भी कई मायनों में लाजवाब है).....और ये दोनों भी अन्जाने ही उसकी रोज़ी-रोटी में एक साथ मिलकर जितना बन सकता है योगदान कर ही रहे हैं.....
Hello Mr. Ravish... 5-6 din baad aaj aapka ye qusba wala blog page khola hun... kholne ki iksha nhi hoti hai ab... bdw ye mahsus kiya ki aapki image ab bahut jyada dhumil ho gayi hai... honi v chahiye thi aur abhi isse v jyada hogi... as a media person u should attack on corruption, illiteracy, jobless youths, etc. but u totally focused at Modi ko roko... jakar dekhiye modi ke activeness ko... lal bahadur shastri ke level ke... aur aap inki jagah nitish kumar, mulayam,mayawati ko favour kr rhe h abhi tak... shayad aap chahte h bharat garibi me dooba rhe,, taaki aap jaisi soch wale press k log & narrow-minded politician jaat-paat, secularism ka nara lagakar apni dukan chala sake... shame on u man... sudhar jaiye warna NDTV ke khasta-haal ki zimmedari aap par hi aayegi...main bihar se hun aapki tarah,, forward caste me aata hun,, lekin ek baar v jaat-paat soche bina nation improment ka sochkar narendra modi ko vote kiya(doesn't matter that he is among obc)... qki modi bakiyo se achi soch, ummid aur takat rakhte h baaton me,, aur aaj bas unse hi kuch ummid h...
**FORWORD CASTE ME AAAAAAAAA TAAAAAA HUIN HUIN** Par Ek Bar B Jaat Paat Kko Soche Bina Nation Ko Importence Soch Kar Modi Ko Vote Kiya"!!!!!!!!!!!!!!!!
Ajab manjar h dekho dushmane jaani parosenge..... Maza ayega jb modi advani parosenge...... Jo kal tk bhashno me sainikon ka sar mangte the..... Sharafat dekhiye wo khud hi biryani parosenge. ...😂😅😃😄😀😁
Mr.modi ne pahale hi mulakat me nawaz sarif sir ko chikan khiladi. kaha gaye ramdevbaba kya ho raha he baba Aap to bahut kud rahe the. dr.manmohan to ek bhi bar pakistan nahi gaye
वाह रे मोदी भाईजी, एक केंद्रीय उच्च शिक्षा मंत्री की कुर्सी पर आपने राहुल गांधी जी से हारी हुई महिला स्मिर्ति ईरानी को बैठा दिया जो न तो तो ग्रेजुएट हैं न ही जिन्हे यह मालूम है कि यूजीसी की नेट, सेट/स्लेट या पीएचडी परीक्षाएं आखिर होती किया है? और तो और उन्हें यह भी नही मालूम कि राज्य और केंद्रीय विश्वविद्यालयों में क्या अंतर होता है? क्या ऐसी महिला एक केंद्रीय मंत्री होने के नाते विश्वविद्यालओं विकास कर पायेगी? क्यों कि आज देश विश्वविद्यालओं का ढांचा काफी चरमरया हुआ है और देश का कोई एक भी विश्वविद्यालय दुनिया के शीर्ष विश्वविद्यालओं में शामिल नहीं है? जिस महिला खुद उच्च शिखा एक बारे में ऐ बी सी डी नहीं मालूम वह महिला उच्च शिक्षा का विकास कैसे कर पायेगी?. क्या केंद्रीय उच्च शिक्षा मंत्री के पद के लिए राजीव प्रताप रुड्डी एक अच्छे चयन नहीं थे? धन्यवाद द्वारा – राहुल वैश्य ( रैंक अवार्ड उपविजेता), एम. ए. जनसंचार (राज्य पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण, हिमाचल लोक सेवा आयोग) एवम भारतीय सिविल सेवा के लिए प्रयासरत फेसबुक पर मुझे शामिल करे- vaishr_rahul@yahoo.com और Rahul Vaish Moradabad
आज मोदी के मंत्रिमंडल के बारे पढ़ने को मिला.. मैं परेशान.. किन किन बेबकुफों को मत्री बना दिया इस मोदी सरकार में... मुझे पूरा विश्वास है आज हमारे देश के मंत्रियों को देख कर उनकी शिक्षा का स्तर देख कर पुरे विश्व के लोग हम पर हंस रहे होने... पढ़े लिखे लोगों को मंत्री मंडल से बाहर रखना कहा तक उचित है??
मेरा किसी भी राजनीतिक पार्टी या दल से कोई द्वेष नहीं है... लेकिन क्या यह सोचने की बात नहीं है... क्या यह अनपद लोग हमारी आने वाली पीढ़ी के लिए कुछ अच्छा कर पाएंगे?
एचआरडी मिनिस्ट्री संभालने वाली स्मृति ईरानी के पास ग्रेजुएट की डिग्री भी नहीं...
भारतवर्ष का भविष्य जिन महान मंत्रियों के जिम्मे है इनमें से कुछ की योग्यता देखिए: 1. उमा भारती - पांचवी पास 2. मेनका गांधी - 10वीं पास 3. अशोक गजपति राजू - 10वीं पास 4. अनंत गीते- 10वीं पास 5. हरसिमत कौर बादल - 10वीं पास 6. स्मृति ईरानी -12वीं पास 7. जी एम सिद्धेश्वर -10वीं पास 8. विष्णु देव साय- 10वीं पास (राजस्थान पत्रिका)
और "मजेदार " बात तो यह है कि यह सभी मंत्री महोदय एवं महोदया खूब आंख-फोड पढ़ाई कर चुके प्रशासनिक अधिकारियों पर अपना हुकम बजाएंगे /बजाएंगी, और बाकी बेवकूफ जनता तो अच्छे दिन देखेगी ही।
2/06 के प्राइम टाइम में आपने भागना प्रकरण को उठाया दिल से धन्यवाद आपका | आपसे मुझे हमेशा ये शिकायत थी के आप भगाना का मामला नहीं उठाते | पुन: धन्यवाद आपका मनप्रीत सिंह
Bahut hi shant aur hara bhra kasba lag raha hai sir ji.
ReplyDeleteरवीश, सेक्यूलरिज़्म की बातें लोग करते ही रहते हैं,लेकिन 'जूस वाले भैया' से ज़्यादा सेक्युलर कौन होगा! रोज़ी-रोटी के लिये ना तो उसे श्री राम से परहेज़ है, ना ही शाहरुख खान से और ना ही उन्हें समानांतर रख देने पर(वैसे ये कॉम्बिनेशन और भी कई मायनों में लाजवाब है).....और ये दोनों भी अन्जाने ही उसकी रोज़ी-रोटी में एक साथ मिलकर जितना बन सकता है योगदान कर ही रहे हैं.....
ReplyDeleteSIR JI yeh sari pics mere samne ek kahani likh rahi hai.
ReplyDeleteSecularism is the need of our country!!
ReplyDeleteYouth will have to come forward.
Jay sri ram :)
ReplyDeleteHello Mr. Ravish... 5-6 din baad aaj aapka ye qusba wala blog page khola hun... kholne ki iksha nhi hoti hai ab... bdw ye mahsus kiya ki aapki image ab bahut jyada dhumil ho gayi hai... honi v chahiye thi aur abhi isse v jyada hogi... as a media person u should attack on corruption, illiteracy, jobless youths, etc. but u totally focused at Modi ko roko... jakar dekhiye modi ke activeness ko... lal bahadur shastri ke level ke... aur aap inki jagah nitish kumar, mulayam,mayawati ko favour kr rhe h abhi tak... shayad aap chahte h bharat garibi me dooba rhe,, taaki aap jaisi soch wale press k log & narrow-minded politician jaat-paat, secularism ka nara lagakar apni dukan chala sake... shame on u man... sudhar jaiye warna NDTV ke khasta-haal ki zimmedari aap par hi aayegi...main bihar se hun aapki tarah,, forward caste me aata hun,, lekin ek baar v jaat-paat soche bina nation improment ka sochkar narendra modi ko vote kiya(doesn't matter that he is among obc)... qki modi bakiyo se achi soch, ummid aur takat rakhte h baaton me,, aur aaj bas unse hi kuch ummid h...
ReplyDeleteThis comment has been removed by the author.
ReplyDelete**FORWORD CASTE ME AAAAAAAAA TAAAAAA HUIN HUIN** Par Ek Bar B Jaat Paat Kko Soche Bina Nation Ko Importence Soch Kar Modi Ko Vote Kiya"!!!!!!!!!!!!!!!!
ReplyDeleteJaaaatiiiii tooo kyon na gai mere man se!!!!!?????????!!!
ReplyDeleteRavish ji mein bahut uttejit hu ke aapka artical aaye AAP (aam adami party) aur lalu, nitish ke naye samikaran ke bare mee kripya jarur likhe...
ReplyDeleteplease please please
I'm waiting...!!!
Ravish ji mein bahut uttejit hu ke aapka artical aaye AAP (aam adami party) aur lalu, nitish ke naye samikaran ke bare mee kripya jarur likhe...
ReplyDeleteplease please please
I'm waiting...!!!
Ravish ji mein bahut uttejit hu ke aapka artical aaye AAP (aam adami party) aur lalu, nitish ke naye samikaran ke bare mee kripya jarur likhe...
ReplyDeleteplease please please
I'm waiting...!!!
Ravish ji mein bahut uttejit hu ke aapka artical aaye AAP (aam adami party) aur lalu, nitish ke naye samikaran ke bare mee kripya jarur likhe...
ReplyDeleteplease please please
I'm waiting...!!!
Ajab manjar h dekho dushmane jaani parosenge.....
ReplyDeleteMaza ayega jb modi advani parosenge......
Jo kal tk bhashno me sainikon ka sar mangte the.....
Sharafat dekhiye wo khud hi biryani parosenge. ...😂😅😃😄😀😁
@aditya
ReplyDeleteModi soch, ummeed aur takat rakhte hain.......Baaton mein.....??????
Mr.modi ne pahale hi mulakat me nawaz sarif sir ko chikan khiladi.
ReplyDeletekaha gaye ramdevbaba kya ho raha he baba
Aap to bahut kud rahe the.
dr.manmohan to ek bhi bar pakistan nahi gaye
ReplyDeleteबिना ग्रेजुएट केंद्रीय उच्च शिक्षा मंत्री
वाह रे मोदी भाईजी, एक केंद्रीय उच्च शिक्षा मंत्री की कुर्सी पर आपने राहुल गांधी जी से हारी हुई महिला स्मिर्ति ईरानी को बैठा दिया जो न तो तो ग्रेजुएट हैं न ही जिन्हे यह मालूम है कि यूजीसी की नेट, सेट/स्लेट या पीएचडी परीक्षाएं आखिर होती किया है? और तो और उन्हें यह भी नही मालूम कि राज्य और केंद्रीय विश्वविद्यालयों में क्या अंतर होता है? क्या ऐसी महिला एक केंद्रीय मंत्री होने के नाते विश्वविद्यालओं विकास कर पायेगी? क्यों कि आज देश विश्वविद्यालओं का ढांचा काफी चरमरया हुआ है और देश का कोई एक भी विश्वविद्यालय दुनिया के शीर्ष विश्वविद्यालओं में शामिल नहीं है? जिस महिला खुद उच्च शिखा एक बारे में ऐ बी सी डी नहीं मालूम वह महिला उच्च शिक्षा का विकास कैसे कर पायेगी?. क्या केंद्रीय उच्च शिक्षा मंत्री के पद के लिए राजीव प्रताप रुड्डी एक अच्छे चयन नहीं थे?
धन्यवाद
द्वारा – राहुल वैश्य ( रैंक अवार्ड उपविजेता),
एम. ए. जनसंचार (राज्य पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण, हिमाचल लोक सेवा आयोग)
एवम
भारतीय सिविल सेवा के लिए प्रयासरत
फेसबुक पर मुझे शामिल करे- vaishr_rahul@yahoo.com और Rahul Vaish Moradabad
आज मोदी के मंत्रिमंडल के बारे पढ़ने को मिला.. मैं परेशान.. किन किन बेबकुफों को मत्री बना दिया इस मोदी सरकार में... मुझे पूरा विश्वास है आज हमारे देश के मंत्रियों को देख कर उनकी शिक्षा का स्तर देख कर पुरे विश्व के लोग हम पर हंस रहे होने... पढ़े लिखे लोगों को मंत्री मंडल से बाहर रखना कहा तक उचित है??
ReplyDeleteमेरा किसी भी राजनीतिक पार्टी या दल से कोई द्वेष नहीं है... लेकिन क्या यह सोचने की बात नहीं है... क्या यह अनपद लोग हमारी आने वाली पीढ़ी के लिए कुछ अच्छा कर पाएंगे?
एचआरडी मिनिस्ट्री संभालने वाली स्मृति ईरानी के पास ग्रेजुएट की डिग्री भी नहीं...
भारतवर्ष का भविष्य जिन महान मंत्रियों के जिम्मे है इनमें से कुछ की योग्यता देखिए:
1. उमा भारती - पांचवी पास
2. मेनका गांधी - 10वीं पास
3. अशोक गजपति राजू - 10वीं पास
4. अनंत गीते- 10वीं पास
5. हरसिमत कौर बादल - 10वीं पास
6. स्मृति ईरानी -12वीं पास
7. जी एम सिद्धेश्वर -10वीं पास
8. विष्णु देव साय- 10वीं पास
(राजस्थान पत्रिका)
और "मजेदार " बात तो यह है कि यह सभी मंत्री महोदय एवं महोदया खूब आंख-फोड पढ़ाई कर चुके प्रशासनिक अधिकारियों पर अपना हुकम बजाएंगे /बजाएंगी, और बाकी बेवकूफ जनता तो अच्छे दिन देखेगी ही।
Modi sarkar ke sapath ke saath hi aapka blog likhna band ho gaya.. kyon??? Likhiye plz..
ReplyDelete2/06 के प्राइम टाइम में आपने भागना प्रकरण को उठाया दिल से धन्यवाद आपका | आपसे मुझे हमेशा ये शिकायत थी के आप भगाना का मामला नहीं उठाते | पुन: धन्यवाद
ReplyDeleteआपका
मनप्रीत सिंह