मैं इस तस्वीर को देख रहा था तो चुटकी लेने का मन कर गया । चाय से दारू की दुकान । वाह । पता चलेगा कि ये दोनों शाकाहारी सिर्फ पानी और दुग्ध पेय पीने वाले मोदी के नाम पर दारू वाली रेस्त्रां का उद्घाटन कर आये हैं तो वे क्या कहेंगे ! मोदी जी ख़ुश भी तो हो सकते हैं । अगले चुनाव में नमो टी की जगह नमो वाइन ! शुभ शुभ बोलो । इनकी लोकप्रियता से क्यों जलते हो रवीश कुमार ! फ़िलहाल इस रेस्त्रां में जाइये और ईट ड्रींक और चिल्ल कर आइये । चाय में क्या मज़ा है ।
स्टिंगानुसार के बाद ईमेलानुसार!! रवीश भाई, आजकल तो आप नए शब्दो के इज़ाद मे लगे हो। ऐसे इस फ़ोटो मे सुरजीत भल्ला भी दिख रहे है, अगर भाजपा कि सरकार बनी तो उन्हें भी कोई बड़ा ईनाम मिलेगा।
ReplyDeleteरवीश भाई ,सुना है कि शिवरात्रि के पूजन में कॉंग्रेस्सी "ॐ नमो शिवाय " भी न ले रहे थे "ॐ शिवाय शिवाय " ही रट्टे हुए थे।
ReplyDeleteबनारस की अड़ीबाजी काफी मशहूर है। चाय , पान , कचौड़ी , जलेबी , रबड़ी -मलाई .... लवंगलता खूब चलता है। बनारस में खासकर , तुलसी बाबा के अस्सी मोहल्ले में चाय के साथ ''प्रसाद '' (जिसे दुनिया वाले मूर्खता में 'भांग' कहते हैं ) का खूब चलन
ReplyDeleteहै। चाय के दुकानों पर भंग -बुट्टी। बाबा विश्वनाथ का प्रसाद।
नमो टी स्टाल में चाय की तो गारंटी है ! बनारस में शायद काशी की औघड़ संस्कृति के अनुसार NAMO TEA ME भंग भी बिकता हो ! पर , हांगकांग के नमो रेस्टुरेंट में तो कुछ भी बिक सकता है न ! 'Global' hai हांगकांग
पता नहीं ये सब देखकर २००४ की यादें ताज़ा क्यों हो जाती हैं। उस समय भी गजब की हवा (बनाई) थी। हर दुसरे दिन , हर तीसरे "सेलिब्रिटी" के हवाले से ख़बर आती थी कि फलां साहब बीजेपी में चले गए। वाजपेयी के नाम कि मिठाई आदि कि भी "न्यूज़" आती रहती थी। ये नहीं कह रहा कि नतीजा भी २००४ वाला ही रहेगा। पर अपनी सिमित समझ में बहुत कुछ (pr टाइप ) तमाशा वही पुराना वाला लग रहा है। हाँ इस बार स्केल और बड़ा है। ट्वीटर भी है।
ReplyDeleteकुछ भी हो लेकिन यह सच है कि लम्बे समय बाद देश के किसी राजनेता के बारे में इतनी बड़ी मात्रा में स्वीकार्यता हुइ है ।
ReplyDeleteBahut badiya Ravish Ji.. Chai pe charcha Karane wale jo khud Social Media (FB and Twitter) se sabse jyada popular hue, wo ab usi Social Media par Public k sawalon k jawab dene se bhaag rh hain (News Laundry, FB and NDTV wala)..jo neta public k beech sawalon se ghabrata ho aur Rallies main Lakhon (Laye hue) logon k beech badi-2 batein bolta ho..Plus TV par har 10 minutes baad GUjraat k Advt.... kya farak reh gya UPA n Modi ji mai.. wo bh public ka Tax ka paisa apne fayde k lie uda rh hain.... ab Modi ji par se bharosa uthne laga hai..baki to jo hai so haie hi hai...
ReplyDeleteAesa hi chalta raha to jald hi achhe khase ubiya jaenge is hawa mein udte udte..
ReplyDeleteगोवा में भाजपा के राज में beef(गोमांस) कैसे बिकता है? शराब तो शिव का प्रसाद है। :)
ReplyDeleteवाह, वैश्विक पहुँच।
ReplyDeleteआप की रैली मे आप गये थे ,वाहन पर चढे थे और आपने ईमानदार बाबु से पुछा था कि Harshvardhan के बारे मे ,जवाब आया था कौन है ये Harshvardhan ? तब आपका ने जो smile दी थी लाजवाब थी.
ReplyDeleteGova me beef bikatahe are jaha jaha bjp sata me he vaha beef bechna lazami he hamare gujarat me bhi beef biktahe,
ReplyDeleteGujarat ki bat kare to narendrabhai ne kai hotels ko sarab bechaneki bhi permission de he ,kuleaam ghadhi ke gujarat me sarab bik rahi he,
Rare bjp vale corporate he to kahi bhi bussnes kar lenge
Gova me beef bikatahe are jaha jaha bjp sata me he vaha beef bechna lazami he hamare gujarat me bhi beef biktahe,
ReplyDeleteGujarat ki bat kare to narendrabhai ne kai hotels ko sarab bechaneki bhi permission de he ,kuleaam ghadhi ke gujarat me sarab bik rahi he,
Rare bjp vale corporate he to kahi bhi bussnes kar lenge
चाय पे चर्चा
ReplyDeleteमोदी : बहुत जल्दी में हैं लगता है । अरे बैठिये ना |
केजरीवाल : मेरे सवालों के जवाब कहाँ है ।
मोदी : बहुत भोला बनते है आप भी । अरे इतना टाइम ऑफिस में बैठ के आप का वेट करेंगे | उधर आपने मीडिया में सवाल पूछा और इधर हमको भी खबर मिल गयी | सॉरी, आपका काम नहीं हुआ लेकिन फर्स्ट टाइम पधारे है हमारे गरीब खाना पर , चाय तो पी के जाइये । बहुत अच्छा मिलता है हमारे गुजरात में ।
केजरीवाल : किसने कह दिया आपसे कि हम जा रहे है । २४ घंटे हमारे सवाल आपका पीछा करेंगे । उनके जवाब दिए बिना आप हिल भी नहीं सकते ।
मोदी : तो क्या आप हमको गुजरात में चैलेंज कर रहे है ?
केजरीवाल : अब तो आप बस देखते जाइये हम आपके गढ़ में क्या - क्या करते है ।
मोदी : कुछ नहीं कर पाओगे केजरी , तुम्हरे जैसे कई आये और गए । हमरा कुछ नहीं बिगाड़ सके ।
केजरीवाल : इस ग़लतफहमी में मत रहना मोदी जी । जब जिस दिन जरुरत पड़ेगी धरने पे बैठ जायेंगे । और याद रखना हमारी चाय बहुत कड़वी होती है |