माइक थेवर। हज़ार शोहरतमंद नामों में एक गुमनाम। मगर काम बेहद ज़रूरी। माइक थेवर वो काम कर रहे हैं जिसकी हिम्मत बड़े बड़े उद्योगतियों को नहीं हो सकी। माइक की एक कंपनी है। अमरीका के फिलाडेलफिया शहर में। १६० करोड़ टर्नओवर वाली कंपनी। माइक ने १५ साल की कड़ी मेहनत से तैयार की है। इसकी एक नीति है जो नई बहस और साहस के लिए प्रेरित करती है।
माइक अपनी कंपनी के लिए सौ फीसदी अफरमेटिव एक्शन के तहत लोगों को नौकरी देते हैं। अफरमेटिव एक्शन यानी जब कंपनी सामाजिक आर्थिक रूप से पिछड़े तबके को आगे लाने के लिए नौकरियां देती हैं। अमरीका में सारी बड़ी कंपनियां करती हैं। पत्रकारिता के बड़े अखबार वाशिंगटन पोस्ट में भी अफरमेटिव एक्शन लागू है। यानी तथाकथित मेरिट नहीं होने पर भी नौकरी।
माइक अनुसूचित जाति जनजाति और ओबीसी के लड़कों को नौकरी देते हैं। हाल ही में उन्होंने २५ लड़कों का चयन किया है। इनमें से कोई भी नौकरी पाने की पात्रता नहीं रखता है। अमरीका न हिंदुस्तान में। लेकिन माइक इन्हें मुंबई में अमरीकन अंग्रेजी की ट्रेनिंग देंगे फिर ले जाएंगे। इससे पहले भी वो १५ लड़कों को नौकरी दे चुके हैं। ये लड़के मुंबई के धारावी के रहने वाले हैं। ज़्याजातर के मां बाप बड़ा पाव बेचने और आटो चलाने वाले हैं। वो अब अपने घर हर महीने पच्चीस हजार भेजते हैं। मां बाप की भी जिंदगी बदल रही है।
ये लड़के भी नौकरी पाने की पात्रता नहीं रखते थे। इनके चयन की एक ही पात्रता देखी गई...सामाजिक और आर्थिक रुप से सताए हुए तबके की पात्रता। माइक ने इन्हें व्हाईट कालर वाला बना दिया। जिसके लिए कई लोग लाखों खर्चते हैं। डिग्री लेते हैं। फिर कहते हैं हमारे पास मेरिट है। माइक सोचते हैं कि यह सब कुछ नहीं होता। काम का प्रशिक्षण देकर काम कराया जा सकता है। और वो शायद दुनिया की अकेली कंपनी के मालिक हैं जिनकी कंपनी में यह नीति सत्ताईस या बाइस प्रतिशत नहीं बल्कि सौ प्रतिशत लागू है। यानी सारी नौकरी अनुसूचित जाति जनजाति और पिछड़े तबके के कमजोर छात्रों को।
अब माइक कौन हैं। वो केरल के गरीब ओबीसी परिवार के हैं। कई साल पहले इनका परिवार मुंबई के धारावी आ कर रहने लगा। स्लम में। माइक ने खुद बड़ा पाव बेचा है। मुंबई के निर्मला निकेतन से बैचलर इन सोशल साइंस की डिग्री ली। टाटा इंस्टि्यूट आफ सोशल साइंस से मास्टर डिग्री ली। एक दलित लड़की से शादी की। तमाम विरोध के बाद भी। और स्कालरशिप पर अमरीका चले गए। वहां उन्होंने स्वास्थ्य क्षेत्र में काम करने वाली एक कंपनी टेम्प्ट सल्यूशन कायम की। एक काययाब कंपनी। कामयाबी के बाद माइक को एक बड़ी ज़िम्मेदारी का अहसास हुआ। पिछड़े और सताए हुए तबके को लोगों को मौका देना का। जिस समाज से उन्हें मिला वो उसे वापस करना चाहते थे।
फिर उनकी कंपनी की यह लाजवाब नीति सामने हैं। वहां किसी को मेरिट के आधार पर नौकरी नहीं मिलती है। माइक चुनते हैं। चुनते समय ध्यान रखते हैं कि जिसे मौका मिल रहा है उसमें भी सामाजिक प्रतिबद्धता है या नहीं। यानी वो आगे जाकर बाकी को आगे लाने में मदद करेगा या नहीं। माइक जल्दी ही अपनी कंपनी के लिए बिहार, उत्तर प्रदेश और पूर्वोत्तर राज्यों के ऐसे लड़कों को मौका देने की योजना लागू करने वाले हैं।
यह कहानी इसलिए सुनाई कि एक दो रोज पहले भारत के बड़े उद्योगपति प्रधानमंत्री से मिलने गए। वो दो साल से अफरमेटिव एक्शन के नाम पर आना कानी कर रहे हैं। कहते हैं सरकार की बेकार आईटीआई संस्थानों को दीजिए और हम वहां ट्रेनिंग देकर देखेंगे कि ये काम करने लायक है या नहीं। क्यों भई अपने बाप की जमीन पर उद्दोग खड़े किए हैं क्या? तमाम रियायतें, आयात निर्यात नीति में बदलाव, फ्री की ज़मीन और आप दुनिया से कंपीट कर सके उसके लिए सरकार का समर्थन। कोई उद्योग कह दे कि उनकी कामयाबी में इन हिस्सों का योगदान है या नहीं। मैं यह बात इसलिए कह रहा हूं कि जिन गरीब बच्चों को माइक अमरीका ले जा रहे हैं अपनी कंपनी में नौकरी देने के लिए वो गरीब बच्चे वहां के फुटपाथ या तीसरे दर्जे के होटल में नहीं ठहराये जाते हैं। वो सभी माइक के घर में रहते हैं। इसीलिए कहता हूं माइक थेवर को जानना ज़रूरी
सचमुच जानना जरूरी है. और, काश कि अर्जुनिया सरकारें भी अफर्मेटिव एक्शन लेतीं इस मामले में - बजाए पॉलिटिकल गेन वाले एक्शन के!
ReplyDeleteवाकई माइक थेवर को जानना जरूरी है!
ReplyDeleteअभी कुछ ही हफ्तो पहले इंफोसिस में १०० लड़के-लड़कियों को ट्रेनिंग दी गई जिसमे से ७३ को नौकरी पर रख ली गई । सभी ओब्क, सक सत तबके से आते हैं । आंकड़ा ७३ से कम या जायदा हो सकता है, मुझे ठीक ठीक याद नही। नारायण मुर्ती का कहना है भारत को विकसित करना है तो हमे आर्थिक और सामाजिक रुप से पिछडे लोगो पर ध्यान देना होगा ।
ReplyDeleteravish ji pahle to apka bahut bahut tahkx ki ap is tarah ke sach ko samne late hai dusari baat ap to patrakar hai tv per bhi aate hai media is waqt bahut powerful bhi hai to kyu nahi aap log reliance ya tata jaise logo ko ye batate hai ki wo kaya kare ya ker sakte hai. Bharat ke kai logo ka naam rich man me shamil ha prem ji laxmi mittal ye sab sirf apne liye ji rahe hai apni beti ki shadi ko international fastival banate hai aur jis desh ne unko itna kuch diya waha sirf ghumne aate hai. Mike Thever jaise logo ko khojna aur unke kaam ko samne lane ka jo kaam apne kiya hai uske liye apka dhanyavad. ise logo ke baare me jan ker pad ker aacha lagta hai
ReplyDeleteऐसे लोगों को ही जानना जरुरी है!!
ReplyDeleteडा सोनी जी माफ़ कीजियेगा आपके लिखे में प्रेम से मतलब यदि अजीम प्रेम जी से है तो आप इस लिंक को देख लीजिये । http://www.bbc.co.uk/hindi/business/story/2007/02/070207_wipro_premji.shtmlवो बहुत ही सदा जिंदगी जीते हैं । वैसे मित्तल का पूरा नाम लक्ष्मी निवास मित्तल है ।
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ReplyDeleteळेख से साथ माइकल की तस्वीर की कमी खल रही है. आशा है कि आप से प्रेरित होकर माइकल जैसे लोगो पर और लिखा जायेगा ताकि निज स्वार्थ के लिये समाज सेवा कर रहे लोगो को सबक मिले.
ReplyDeleteबधाई
अच्छी जानकारी है इसके लिये आप प्रशंसा के पात्र है
ReplyDeleteये है माइक कि कंपनी जरा इसे देखे
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ReplyDeleteअच्छा लगा जान के। कहीं तो कोई है जो बस काम कर रहा है बिना इसकी परवाह किए कि उसकी तस्वीर कहीं छप रही है या नहीं, मशहूरी मिल रही है या नहीं। सबसे बड़ी दिक़्क़त हम ख़बरचियों के साथ शायद यही है - जो वाकई में ख़बर का हक़दार है वो गुमनाम है और जिसे सिर्फ़ एक ख़बर में समेट देना चाहिए उस पर खेला(पत्रकार दोस्त समझदार हैं) जाता है।
ReplyDelete- प्रबुद्ध
ravish ji NDTV pe ek programme aata hai "Rafttar" cars aur bikes ke baare me kaya ye internet pe bhi available hai,if yes then will u guide me how i can catch that i need your help, sorry apke blog pe ye information maang rahi hu
ReplyDeletethanks and regards,
sarita
रवीशजी नमस्कार, आपका ब्लोग देख कर बहुत अच्छा लगा. हम आपको रोज़ देखते हैं ऑफिस में पर मुलाक़ात नही होती पर नेट के इन मोहल्ले में रोज़ अनाजाना होता हैं । कभी वक़्त मिले तो हमारे मोहल्ले मै भी आना भी आना, पुरी कालोनी बाना रखी हैं आपकी कुछ आलोचना हो जाये इस पर तो अपने आप को धन्य समझूंगा ।
ReplyDeleteINDIA GAZE http://indiagaze.blogspot.com/
Bhoole Bisre http://oldandlost.blogspot.com/
क़तरा क़तराQatra-Qatra http://qatraqatra.blogspot.com/
Kuch Ankahi Si http://ankahisi.blogspot.com/
Escaping the Death http://snblast.blogspot.com/
Ye Meri Life Hai http://yatishlife.blogspot.com/
Ravishji, bahut bahut mubarak. ramnath goenka puraskar ke liye.
ReplyDeletebharat wakai mahan desh hai do din pehle jab note per ambedkar lekh prakashit hui tab na jane log kaisi-2 pratikriya de rahe the,apne udaharan samane la diya log tarif ke pool bandh.avasar se yogta aati hai,yeh brahm satya hai,lekin bharat ke samanti sonch wale meritorious ko itni si baat samajh nahi aati.;ravish bhai,kuch log merit kabiliat ko apni, bapauti samajhte hain. ham to chahte hain ki bharat sarkar kuch issues per research kara le,jaise;kidney chori karane wale doctor ya paiso ke liye bhrun hatya karane wale kis jati ke log hain,private college mein padhane wale kis aadhar per addmission pate hain;paisa ya merit,aajadi ke baad sara school,college,companies to inhi kabil logon ke hathon mein tha,to in sansthaon ki kharab halat kisne ki.is desh ki vidambana
ReplyDeletehai ki yahan musalmano aur dalit backward se hi deshbhakti aur merit certificate manga jata hai,kabhi inse inki kabiliat ka certificate nahi manga gaya hai? Prachin kal se lekar ab tak ke inke yogdano ki report card prastut karane ki koshis kar raha hoon;
1.continuous colonial subjugation,(desh ko inhi kabil logon ne hajaron sal tak gulam bana kar rakha hai aur jab sirajudaula aur tipu sultan angrejo se lar rahe the to inhi kabil logon ne angrejo ka sath diya,1857 ke sangram me bahut se kabil log angrejo ke sath hi the.)
2.untouchability(isi mahan desh ke kabil sidhantkaron ne is amanvia pratha ko janma diya)
3.devdasi pratha(isi desh ke mahan sidhantkaro aur mahan dharmic kendron ki den hain)
4.sati pratha(masoom widows ko jalane ki pratha inhi mahan logo ki den hai aur aaj bhi bahut sare mahan kendro mein inki kya sthiti hai aap dekh sakate hain,dekhen; ram teri ganga maili,gidhdh ,prem rog etc avam latest water)
5.bal-vivah avam polygamy,
6.dahej-pratha(apani hi jati ke bahu-betiyon ko paise ke liye yahi log jalate hain,satyapan ke liye jitney bhi dahej utpiran ke mamle hain kripya unhe dekh lein.
7.Endless corruption ( cvc ki official website per jakar listed namoo ko dekhen, jinke videshon mein account hai unki jati ki analysis Karen).ravish bhai aap jaise bahut kam journalist hain jo itni nidarata se in gambhir samajik muddon ko uthata hai,isliye meri rai hai ki sabse pehle media me hi affermative action lagoo karna chahiye.
in tippaniyon ke dwara mera maksad ki pathak ki bhawna ko thes pahuchana nahi,merit ko lekar jo bhrantiyan bani hui hai oose khtma karna hai
bahut dino se padh raha hoon apko,,comments dene ki himmat kabhi na hui...haan itna zarur kahunga " apka har shabd hai apki zinda tasveer,dekhne walon ne har labz mei neehara hai apko"....
ReplyDeleteravish sabse pehle puruskar ke liye hardik badhai...hindi patrakarita ke jhanda buland karne ke liye hardik dhanyavad..
ReplyDeleteवाकई माईक को जानना जरूरी है रविश भाई आस्ट^या को भी जहाँ की कंपनियों को सकारिता के नियम पर चलाया जा रहा है खैर जानकारी के लिये धन्यवाद...चन्द्रिका dakhalkiduniya.blogspot.com
ReplyDeleteKaash jaisaa Mr. Thewar sonchtey hain unkey dwaara naukri paayen log waisaa hee karen..Ravish jee Kya Mayavati ko bhee hum Mr. Thewar ke category me rakh sakte hain?..Ant me aapko Patrakaarita ka sarvoch sammaan 'Goenkaa sammaan' milne par badhaaee!
ReplyDeleteबधाई हो सर। और कोई जगह आपके ब्लौग पर दिखा नहीं सो यहीं बधाई दे रहा हूं। अब इसके बाद लगता है कि सपनों की कीमत लगाने के इस दौर मे बेहतर समय की उम्मीद अभी जिन्दा है।
ReplyDeleteकुन्दन, पटना
ravishji pratham to namskarweekend mein gaav chala gya tha so kasbe se kuch din door rha. in dino mein apne khoob likh diya hai. mike thevar ke bare me jankari badi achchhi lagi.. apko sadhuvad..
ReplyDeletepoori kahani padkar apne ek mitr ki kahi baat yaad aa gayi..orissa ke ek mitr hai bisvaji..ek mulakat ke sayam unke pas kisi ka fone aaya fone pr baat hone ke bad poochha kiska hai to uske bare me btaya... drasal, vo gurgaon ke kisi call centre mein asst.manage/cashier sambandhi kam karta hai.. bisva jab 4-5 sal pahle us call centre mein HR ka kam dekhte the to us douran vo ladka sweeper ka kam krta tha. deere-deere aadtan biswa se us ladke ko computer chalana sikaya.. fir salary account sambandhi kam.. beena kisi ko btayein chhah mah bad usko apna asst rakh liya or aaj vo ladka 300 employees ke account or salary ka kam dekh rha hai..biswa bhuvneshwar mein ek bpo setup mein lga hai. dili aata rhta hai or aise kai kisso pr hum rat-ratbhar charcha kartein.. apka blog padhne ke baad maine phle biswa ko fone kiya tha lekin vo mike ko nahi janta...
darasal ravishji apne yahan kai mike thevar apni disha mein jutein huye hai lekin mera manna hai ki jab tak nijam nikarma(haryanvi shad hai. iska mane bikul inefficient)rahega tab tak parivartan haot dikhega nahi..
ReplyDeleteor ha ant mein ravishji bahut-bahut badghaiyan ..aap jaiso ko samman milna sukhad ahsaah deta hai..kahunga...lage raho ravish bhai.
ReplyDeletenamasker ravish ji i hope aap ye msg padege,
ReplyDeleteblog pe padh ker hi pata chala ki apko shri goyanka award mila hai ho sakta hai tv per bataya gaya ho per time ki kami ke karan tv dekhna kam hi ho pata hai. apka blog mene jab padna shuru kiya tha to apne english sikhne ki tension per bahut aacha likha tha pad ker laga ki me apna bita soch rahi hu. sari bhashaye aaye ye zaruri nahi per agar ek bhi aati hai ti puri tarah se aani chahiye isa mera manna hai aur aap unme se ek hai jine karan me isa manti hu ab tak apko pata chal gaya hoga ki english se mujhe kitna darr lagta (tha) hai jab aap jaise loog sath hai isa mahsus hota hai to ye sharmindgi public palce me kaam ho jati hai ki humko english bolna nahi aata tab sochti hu ki aap jaisa patraker bhi to hindi hi bolta hai. hindi bhashiyo ke samman (mere) ko sahara dene ke liye bahut bahut dhanyawad ab me kah sakti hu hindi me ki ravish ji jo hindi me hi bolte aur likhte hai unko sammanit kiya gaya hai.
lagta hai meri badhai aap tak pahuchaane me kisi ko kasht ho raha hai, pahle to mai hi late ho gai, badhai dene me aur ab ye internet bhi bar-bar down ho raha hai, par maine bhi soch liya hai ki aaj apko badhai sandesh dekar hi manungi, khair....
ReplyDeletemai ek badhai deti hoon, aap pls usse do kaam le ligiyega-
ARTICLE ke liye
aur
PURASKAAR ke liye
aap soch rahe honge ki mai kitni kanjoos hoon, aapne kaam kiye do aur mai badhai de rahi hoon ek. kya kare ravish g, thoda bahut to samay ke saath bhi chalna chahiye, isiliye sankshep me kaam chala rahe hai.
aapko english me likhi gai hindi padhne me takleef to hoti hogi, kuch kigiye na aisa ki hum yahin par hindi me likh saken. anyway
aapko ek baar phir-
BAHUT-BAHUT BADHAI
aap pls hamesha yahan rahiyega aur hame SACH SE ROOBROO karvate rahiyega, iski hamesha talaash rahti hai
mike thevar jaise aur logo ko janne ki bhi tamanna hai, help kijiyega
आप सबका धन्यवाद। मेरा हौसला बढ़ाने के लिए। और माइक थेवर के काम की सराहना करने के लिए।
ReplyDeleteमाइक वाकई लाजवाब
Ravishji,
ReplyDeleteAapke sabdhon se muje aur prerna mili hai, Aage chalkar aur ache kaam karne ki ummid raktha hoon, Logon ke comments bahut ache rahe hain.Meri agli prayas hai ki main America mein kam se kam 100 se jyada pichde communities se logon ko US mein laakar settle karke unhe ache Bhavishya dene ki praayas karoonga .Jyaadatar Gawon Aur tribal areas ke logon ko opportunites Dena hai.
Aapke Aashirwad aur Pyaar se yeh jaroor sambhave ho sakta hai.
Michael Thevar
hiiiiiii mike tum bahot accha kaam kar rahe ho.......
ReplyDeleteI am very impress with mikt thever,once Dr ambedker was says "mere marene ke baad bhi lakhon ambedker paida honge" & I think Mr. Mike thever is one of them
ReplyDeleteMujhe naheen pata ki yahan log kis liye aur kis ko badhayee de rahe hain ..lekin main aap se ek he prashan poonchna chahata hoon ki ..kya ye nyay hai ek oos yuvak ko naukari dena jisne athak prayaason ke baad apani shiksha pooran ki hai hai ..jiske mata pita ne karz le ker oose padhaya hai ..ya ek oos yuvak ko jo ki bus ek pichadi jaati se hai ? ..
ReplyDeleteager sub koi aisa karega tou fir shiksha aur yougyta jaise shabdon ka kya vajood rahe ga ? ..
बेहद सराहनीय , इसलिए माइक को जानना जरूरी है
ReplyDeletesamajh se pare hai apka ye lejh ,,,,,,,,,,, ap kisi ko niyamo se upar uthkar seva karne ko nahi kah sakte ,,,, jineh seva karna hi chahiye yani sarkar we to kar nahi rahe ,,,,,,,,, ap latad rahe hain dusro ko ,,,,, apne sc .st .obc ki bat ki ,,, kya garibi jati dekhkar ati hai ,,,, apka lekh rajneeti se prerit hai ,,,, agar aj log jhuggi mein rah rahe hain to ap sarkar se puchiye ,, na ki udhyogpation se
ReplyDeletewe must follow him, if we want our deprived brothers and society to develop and grow in this selfish world.......
ReplyDeleteGarib Brahmin baccho se aapko kya elergy jo ki aap sirf sr sc ko hi support krte ho. Upper cast me bhi to kafi pichhde log h. Unhe bhi support kare.
ReplyDeleteमुझे तो ऐसा प्रतीत होता है कि अगर कोई व्यक्ति SC, ST, OBC या अन्य गरीब-वंचित तबकों को कुछ राहत देने की कोशिश करता है तो कुछ लोग निराधार आलोचना करने लगते हैं, जैसा कि श्री संतोष शाक्य मौर्य जी लिख रहे है, अगर माइक थेवर जी उक्त उचित कार्य कर रहे हैं, तो ये प्रशंसनीय कार्य है! याद रखें कि व्यवस्था जिसको भी जो कार्य दे, उसको करना ही पडता है, नेहरू ने एक मिडिल पास को अपने कार्यकाल में जिलाधिकारी बना दिया! तथा यह भी याद रखें कि गरीबी-अमीरी-बेरोजगारी या सामाजिक-आर्थिक असमानता व्यवस्था की गलत नीतियों के कारण ही बढती हैं, ये गलत नीतियाँ व्यवस्था में गलत आदमी ही निर्माण करते हैं, यह सत्य है कि कोई भी अपनी माँ के पेट से योग्यता-शिक्षा-धन-दौलत लेकर नहीं आता है! श्री संतोष जी को महामानव बुद्ध, भारत रत्न बाबा साहब अम्बेडकर तथा कार्ल मार्क्स को सही तरीके से समझने की जरूरत है!
ReplyDeletehe is real hero .......... isne dikhaya ki agar sarkar chahe to jise jis chiz ki jarurat hai de sakati hai.... par wo de kyo use to samaj me uch-nich reservation ka bhoot dal ke apni roti sekani hai............... aur jinhe jarurat nhi hai unke liye sari chize uplabadh karna hai................hme aise hero ko ki jarurat hai jo samj ko samjhe na ki vote bank ko
ReplyDeleteअद्भुद। हमें हजारों माईक थेवरों की जरूरत है।
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