tag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post872345632421373012..comments2024-03-22T11:14:13.300+05:00Comments on कस्बा qasba: अंग्रेजो वाली रौब नहीं रही अंग्रेजी कीravish kumarhttp://www.blogger.com/profile/04814587957935118030noreply@blogger.comBlogger33125tag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-44476757730603891202013-04-03T20:08:42.602+05:002013-04-03T20:08:42.602+05:00chanlte rahiye, chalte rahiye kahte kahte kahan ch...chanlte rahiye, chalte rahiye kahte kahte kahan chale gaye aap.. aapki jagah twitter par koi nahee le sakta..Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/11482748717609714132noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-2318196657642518672013-04-03T14:08:20.918+05:002013-04-03T14:08:20.918+05:00ravis ji aap ke lekh ka kayal hun. har baar ki t...ravis ji aap ke lekh ka kayal hun. har baar ki tarah aap es baar bhee behtar hai....ramesh paras nathhttps://www.blogger.com/profile/13382552281897485145noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-23503216453765237552013-04-03T14:06:09.337+05:002013-04-03T14:06:09.337+05:00very useful article.....very useful article.....ramesh paras nathhttps://www.blogger.com/profile/13382552281897485145noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-2403519471336399822013-04-02T09:08:45.458+05:002013-04-02T09:08:45.458+05:00Sir, apne apna twitter acc q band kiya? Aap kux pa...Sir, apne apna twitter acc q band kiya? Aap kux paglo ki bato se aahat hokar hume apne vicharo se dur q kr rhe hai? Hume saza kis bat ki? Plz sir wapis aa jaiye. Riya humanhttps://www.blogger.com/profile/11140407151395345052noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-29887460386340252102013-03-31T04:56:41.353+05:002013-03-31T04:56:41.353+05:00e t bahut funtastikwa likha aapne...really superb
...e t bahut funtastikwa likha aapne...really superb<br />Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/10177715606606350880noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-57921307532955006122013-03-23T16:07:00.308+05:002013-03-23T16:07:00.308+05:00mujhe hinditype karni nahi aati..
magar aapke sare...mujhe hinditype karni nahi aati..<br />magar aapke sare lekh padhta hoon<br />Jo nidarta aur wishwas aapki shaili mein dikhti hai....woh qabile tareef hai....Wasique Md.https://www.blogger.com/profile/17054962465080555668noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-82021309106249411852013-03-16T12:02:34.689+05:002013-03-16T12:02:34.689+05:00Very efficiently posting.
Load Junction, load mat...Very efficiently posting.<br /><br /><a href="http://www.loadjunction.com" rel="nofollow">Load Junction, load matching Services, Find Truck Loads, Find Freight and Trucks</a><br />Manoj Singhhttps://www.blogger.com/profile/00749946427687952884noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-29652844267130105442013-03-13T18:12:47.764+05:002013-03-13T18:12:47.764+05:00हमें दुनिया की भाषाएं जाननी चाहिए परंतु मातृभाषा क...हमें दुनिया की भाषाएं जाननी चाहिए परंतु मातृभाषा को हमारी पहचान का हिस्सा बनना चाहिए। जिस देश की मातृभाषा समृद्ध होती है वह देश हमेशा प्रगति के पथ पर अग्रसर रहता है।<br />Dhamender Yadavhttps://www.blogger.com/profile/06787012666477034926noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-73698928744743414722013-03-13T17:04:13.875+05:002013-03-13T17:04:13.875+05:00
रविश जी आज कल जब में सब्जीमंडी जाता हूँ तो वो आवा...<br />रविश जी आज कल जब में सब्जीमंडी जाता हूँ तो वो आवाज लगते है ब्रिंजल ले लो , पोटेटो ले लो अब ये लोग भी अंग्रेजी में सब्जी बेच रहे है आज माध्यम वर्ग और माध्यम वर्ग क्या सभी अपने बच्चो को अंग्रेजी सिखाने में जी जान से जुटे हुए है आज सभी को ये लगता है की अंग्रेजी आने से उसकी गरीबी दूर हो जायगी --------------------------------<br /><br /><br /><br /><br />हमें दुनिया की भाषाएं जाननी चाहिए परंतु मातृभाषा को हमारी पहचान का हिस्सा बनना चाहिए। जिस देश की मातृभाषा समृद्ध होती है वह देश हमेशा प्रगति के पथ पर अग्रसर रहता है।Dhamender Yadavhttps://www.blogger.com/profile/06787012666477034926noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-47702656744689398912013-03-12T19:50:31.771+05:002013-03-12T19:50:31.771+05:00JabardastJabardastSANJEEVhttps://www.blogger.com/profile/02736152940856419461noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-42249222737368592302013-03-07T16:53:35.137+05:002013-03-07T16:53:35.137+05:00That is several inspirational obstructions. Never ...That is several inspirational obstructions. Never knew that opinions could be this antithetical. Thanks for all the enthusiasm to capital specified facilitator entropy here. <a href="http://suegoldstoneinteriors.com/" rel="nofollow">phoenix interior design</a> | <a href="http://suegoldstoneinteriors.com/" rel="nofollow">arizona interior design</a> | <a href="http://suegoldstoneinteriors.com/" rel="nofollow">scottsdale interior designer</a><br /><br /> Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/08626476851164389868noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-51813420797557032962013-03-04T12:08:37.509+05:002013-03-04T12:08:37.509+05:00आपका यह लेख सच का आईना है. सचमुच अब देश के छोटे छो...आपका यह लेख सच का आईना है. सचमुच अब देश के छोटे छोटे शहरों में पब्लिक स्कूल खुल गए हैं. अब शोले बाला इंग्लिश का दौर समाप्त हो चुका है. मेरे गाँव में एक आदमी जो बी ए इंग्लिश घीच घाच के पास थे. नौकरी चाकरी हुई नहीं माल मवेशी पाल पोष कर घर चलाते थे. वो अपना भैस भी अंग्रेजी में ही चराते थे. मूव लेफ्ट कि भैसिया बायीं तरफ घूम गयी. शिट डाउन कि भैसिया बैठ गयी. पडोसी से झगरा भी अंग्रेजिये में करते थे. सुना है कि पब्लिक स्कूल खुल जाने से बेचारे को बुढारी में एक स्कूल में मास्टरी लग गयी है. ये सब भूमंडलीकरण के कारण ही संभव हो सका है. एक सार्थक लेख के लिए आपका धन्यवाद. Pankaj kumarhttps://www.blogger.com/profile/01027653170078278320noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-30472722835356577162013-03-03T23:19:58.969+05:002013-03-03T23:19:58.969+05:00ठीक ठाक हैठीक ठाक हैShambhu kumarhttps://www.blogger.com/profile/13570601825632015400noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-37223142211502662272013-03-02T07:19:38.275+05:002013-03-02T07:19:38.275+05:00बहुत ही सार्थक लेख और राष्ट्रिय भाषा के सम्मान में...बहुत ही सार्थक लेख और राष्ट्रिय भाषा के सम्मान में समर्पित ! मै इस सोंच का पक्षधर हूँ जिस राष्ट्र का राष्ट्रिय भाषा मजबूत और सम्मानित न हो वह राष्ट्र भी मजबूत और सम्मानित नहीं हो सकता ! वैसे आपने भारतीय कुलीन परिवारों के अंग्रेजियति मानसिकता पर भी अच्छा व्यंग लिखा है !वैसे आपसे एक निजी प्रश्न --क्या आप भी बेतिया के के० आर० स्कूल में आरंभिक शिक्षा प्राप्त किये हुए है ?ajit raihttps://www.blogger.com/profile/11820825377162556414noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-51616984133751404062013-03-02T07:19:02.011+05:002013-03-02T07:19:02.011+05:00बहुत ही सार्थक लेख और राष्ट्रिय भाषा के सम्मान में...बहुत ही सार्थक लेख और राष्ट्रिय भाषा के सम्मान में समर्पित ! मै इस सोंच का पक्षधर हूँ जिस राष्ट्र का राष्ट्रिय भाषा मजबूत और सम्मानित न हो वह राष्ट्र भी मजबूत और सम्मानित नहीं हो सकता ! वैसे आपने भारतीय कुलीन परिवारों के अंग्रेजियति मानसिकता पर भी अच्छा व्यंग लिखा है !वैसे आपसे एक निजी प्रश्न --क्या आप भी बेतिया के के० आर० स्कूल में आरंभिक शिक्षा प्राप्त किये हुए है ?ajit raihttps://www.blogger.com/profile/11820825377162556414noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-37024787474557567952013-03-01T17:09:32.389+05:002013-03-01T17:09:32.389+05:00सर जी , शानदार लेख हमेशा की तरह :)सर जी , शानदार लेख हमेशा की तरह :)@aryarajuhttps://www.blogger.com/profile/14115388861163761098noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-8808949052720858312013-03-01T17:07:59.119+05:002013-03-01T17:07:59.119+05:00This comment has been removed by the author.@aryarajuhttps://www.blogger.com/profile/14115388861163761098noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-63754149114250404862013-03-01T17:04:36.955+05:002013-03-01T17:04:36.955+05:00This comment has been removed by the author.@aryarajuhttps://www.blogger.com/profile/14115388861163761098noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-91798004710562017972013-03-01T15:05:24.322+05:002013-03-01T15:05:24.322+05:00This comment has been removed by the author.Aawazhttps://www.blogger.com/profile/18163733734748741276noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-86729738597236918132013-03-01T15:04:59.136+05:002013-03-01T15:04:59.136+05:00bhut hi badhiya...bhut hi badhiya...Aawazhttps://www.blogger.com/profile/18163733734748741276noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-30253922388576070032013-02-25T09:44:57.921+05:002013-02-25T09:44:57.921+05:00ग्रामपंचायत बनने से भस्ठाचार पे रोक लगेगी क्योकि स...ग्रामपंचायत बनने से भस्ठाचार पे रोक लगेगी क्योकि सब काम ग्रामपंचायत के माध्यम से हो जाए करेगे जैसे पुलिस ,सरकारी ,अस्पातल ,स्कूल ,आदि जगह पर एक आम आदमी का बोलना या जाना और उसके पीछे पूरा ग्रामपंचायत है वो ही उसकी पहचान है<br />ग्रामपंचायत बनने से देश की ७० प्रतिशत समस्याओ को हल होगा बाकी बची ३० प्रतिशत के लिए मेरे अगले विचार लिखने तक .......रुके ......<br />ग्राम सभा का स्वरुप यानी चुनने कैसे <br />• गरीबो को ३० प्रतिशत ( जिसके पास जमीन ना हो यानी मजबूर या मजदुर ) पर उनकी जिनकी काबिलियत हो <br />• महिलाओ को ४० प्रतिशत ( उसमे भी जिसके पास जमीन ना हो उनका ७० प्रतिशत ) पर उनकी जिनकी काबिलियत हो <br />• बाकी ३० प्रतिशत जिनकी काबिलियत हो <br />• इनके चुनाव के बाद एक ग्रामपंच-ग्राम प्रधान चुने फिर बाकी के पद उनमे से जैसे कोषाध्यक्ष ( खातो की निगरानी करेगा ) <br />• एक वकील जो क़ानूनी समस्या देखे<br />• एक ड्रोक्टर जो स्वास्थ विभाग <br />• एक पुलिसवाला जो झगडे टंटे देखे <br />• सभी नई काम में बदलावों लाए या सरकारी फण्ड या आपातकाली स्थति पर सब मिल कर फैसाला ले <br />• <br />• ग्रामपंचायत सभी को एक कार्ड से जैसे (आधार कार्ड )उसमे पुलिसवाला, ड्रोक्टर , वकील , ग्राम प्रधान की मंजूरी हो <br />• कार्ड में उसकी जमीन या मजदूरी का हिस्सा तय हो <br />• कार्ड में उसकी स्वास्थ की जानकारी लिखा हो <br />• कार्ड में उसकी आदि आदि ...<br />• <br />• <br />1. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो आरक्षण के मुद्दे का सही समाधान होगा <br />2. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो समान सिक्षा का समाधान होगा <br />3. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो समान स्वास्थ का समाधान होगा <br />4. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो समान सुरक्षा का समाधान होगा <br />5. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो समान जीवन का समाधान होगा <br />6. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो समान धार्मिक (जातिवाद ) का समाधान होगा <br />7. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो समान व्यवस्था का समाधान होगा <br />8. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो माहिलो का समान अधिकार दे समाधान होगा <br />9. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो माहिलो का समान अधिकार दे समाधान होगा तो बलात्चार का सवाल पैदा होता है <br />10. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो भाष्ठाचार समाधान होगा <br />11. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो कुपोषण समाधान होगा <br />12. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो रोजगार समाधान होगा <br />13. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो भाष्ठाचार समाधान होगा बाल विधवा अबला वर्द्ध<br />14. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो बाल विधवा अबला वर्द्ध को सही समान समाधान होगा <br />15. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो कुरितियो जैसे शराबी,जुआ रेप आदि समस्याओ का समाधान होगा <br />16. इस प्रकार ग्रामपंचायत पंचायत का संचालन करे तो देश की ७० प्रतिशत समस्याओ का समाधान होगाkishan13ghttps://www.blogger.com/profile/00264094848070121492noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-64573103991355198602013-02-25T09:44:29.371+05:002013-02-25T09:44:29.371+05:00अब फसल आने पर जिस की जितनी हिस्सेदारी है उतनी मुना...अब फसल आने पर जिस की जितनी हिस्सेदारी है उतनी मुनाफा दे मतलब साहूकार की हिस्सेदारी २५ और २५ प्रतिशत क़ानूनी झमेले वाली अगर कोई दावेदार है तो बाकी २५० हिस्सेदार है <br />अब बाकी बची जमीन १०० एकर (पगडण्डी वाली )और सरकारी जमीन १५० एकर अब वो २५० एकर का हिस्सेदार गग्रामपंचायत होगा २५० एकर से जो पैसा मिलता है ग्रामपंचायत को चालने में और उसको गावं में अति गरीब , अबला नारी , वुजुर्ग ,बाल की भलाई में लगाए और बाकी बचे पैसे में पानी बिजली ट्रेक्टर का सही इंतजाम करने में और बचे तो वेयरहाउस (गोदाम )बनाए अगर सरकारी मद्दत की जरूरत हो तो ग्रामपंचायत के माध्यम से मिले <br />अब सबसे पहले सरकारी सब्सिडी जो अलग अलग योजनाओ में जो सरकार देती वो सब बंद करे फिर ग्रामपंचायत को जिस काम के लिए जरूरत है वो ही फंड रिजील करे <br />अब कुछ लोग ग्रामपंचायत में नहीं आना चाहेंगे <br />उसका मेरा जबाब यह की जब सकारी सब्सिडी के रूप में जो सहायता मिलती थी जब वो सहयता केवल ग्रामपंचायत को ही मिलेगी तो वो लोग भी उसमे अपने आप जुडेगे नहीं तो सरकारी (कर ,टेक्स ) का हंटर है <br />अब सरकार भी सही योजनायें बना पाएगी जैसे सभी को सामान शिक्षा ,समान स्वास्थ्य सुविधा ,सभी को समान अधिकार <br />अब देश में सबसे ज्यादा क़ानूनी केस जमीन जायदात के है उस में हल करने में सुविधा होगी <br />ग्रामपंचायत की देख रेख में और भी काम काज किये जा है जैसे पशु पालन ,मुर्गीपालन , खेती आधारित उद्योग ,हस्तकला ,छोटे मोटे उद्योग लगाए जा सकते है जिसकी जितनी काम करने की समता के ऊपर निर्भर है <br />ग्रामपंचायत बनने से बुराईयों पर जैसे शराब ,जुआ ,बलात्कार ,बाल मजदूरी ,अबलानारी ,विधवाओं बुजर्ग को समान का जीवन ,आदि ....<br />पुलिस का रवैया भी बदलेगा <br />ग्रामपंचायत बनने से जो शहर की ओर जाने वाले लोग गाँव मै ही बसना चाहेंगे और जो शहर में है वो भी गावँ में जाना चाहेंगे <br />ग्रामपंचायत बनने से देश की सही जनसख्या का पता लगेगा क्योकि अब तक जो गाँव में और शहर में है वो दोनों जगह का सरकारी सब्सिडी का दुरुपयोग करते है <br />ग्रामपंचायत बनने से भूमि अधिघरण का दुरुपयोग नहीं होगा अगर कोई करना भी चाहेगा तो सही दाम और सही रोजगार की जरूरत पूरी करेगा क्योकि सघठन में शक्ति होती है जो बिखरा पड़ा उसको लालच का दबाब या मार पीटकर छिन नहीं सकता हैkishan13ghttps://www.blogger.com/profile/00264094848070121492noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-48298981794811528652013-02-25T09:43:08.368+05:002013-02-25T09:43:08.368+05:00This comment has been removed by the author.kishan13ghttps://www.blogger.com/profile/00264094848070121492noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-62927519491852265012013-02-25T09:41:43.459+05:002013-02-25T09:41:43.459+05:00देश में ग्रामसभा –ग्रामपंचायत –ग्रामसमिति ग्राम-कम...देश में ग्रामसभा –ग्रामपंचायत –ग्रामसमिति ग्राम-कमेठी का स्वरूप पर मेरा विचार<br />देश की ७० प्रतिशत आबादी गावँ में रहती है तो देश की ७० प्रतिशत समस्या भी गाँव में है अगर ७० प्रतिशत समस्या का समाधान हो तो देश की ७० प्रतिशत समस्या कम हो जाएगी मतबल ७० प्रतिशत जनता गावँ की समस्या ग्रामपंचायत या ग्रामसभा से ही संभव है <br />मै एक उदाहरण दे कर समझाने की कोशिश कर रहा हु ...... माना एक ग्रामपंचायत बनाई और उस गावँ में करीब १००० लोग रहते है १००० एकर जमीन है और गावँ के पास हर परिवार में ४-५ सस्दय है तो करीब ग़ाव की जमीन में करीब २५० की हिस्सेदारी हुई और अब सब के पास समान जमीन नहीं है किसी के पास १० एकर तो किसी के पास १/२ एकर है और कुछ जमीन पर कुछ ना कुछ क़ानूनी झमेलो में फंसी पड़ी वो जमीन करीब १५० एकर है वो २५ लोग की हिस्से दारी में आती है कुछ जमीन सरकारी वो करीब १५० एकर है और वहां खेती नहीं होती है कुछ जमीन साहूकार के पास गिरवीं है वो १०० एकर है वो २५ लोगो की हिस्सेदारी में आती है अब सब मिला कर १४०० एकर जमीन हुई और अगर सब साथ मिल कर खेती करे तो १०० एकर जमीन और निकलेगी वो कैसे ( हर १-२ एकर के बीच में पगडंडी और रास्ते है वो जमीन ) अब कुल मिला कर १५०० एकर जमीन और ३०० की हिस्सेदारी .. अब सब मिला कर खेती करते हो फसल ज्यादा होगी एक गावँ जरूरत की खेती बाड़ी मिलकर जो वहां के १००० लोग की साल भर की जरूरत को पूरा करे जैसे गेहू , चावल ,दाल, सब्ब्जियो जो वहां पर खेती होती वो गाँव वालो में बाँट कर जिसको (किसी के पास १० एकर है लेकिन उसको जो उस परिवार की साल भर की जरुरत को पूरा करे और किसी के पास १/२ एकर है और उसकी मजदूरी का पैसा मिला कर उस परिवार की जरुरत पूरा करे और जो मजदूरी के बदले लेना चाहता है उसको ) बची होलसेल में बचे <br />अब जिसके पास जमीन नहीं है वो या तो मजदूरी करते किसी अमीर व् साहूकार की जमीन जोतता है अब सभी मजदूरो या जो खेती में काम करना चाहता वो उनकी अच्छी पगार तय करे क्योकि मुनाफा पहले ज्यादा होगा और सब को अच्छी मजदूरी दे सकते है यह तो हुई मजदूरी की बात <br />अब सब पहले अपने अपनी जमीन के लिए बीज उर्वरक - खाद बिजल पानी ट्रेक्टर उसको लाने में तहसील या शहर के आने जाने का खर्चा होता है अब ग्रामपंचायत पुरे की खरीदी करेगी तो आने जाने खर्चा ,होलसेल बीज उर्वरक - खाद खरीद में बचत होलसेल में बेचने में फायदा नहीं तो अच्छी रेट आने पर बचे .............kishan13ghttps://www.blogger.com/profile/00264094848070121492noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6145298560011119245.post-20819390817589973232013-02-20T11:04:49.337+05:002013-02-20T11:04:49.337+05:00इसका भान तभी हो गया था जब १९८८ में आईआईटी प्रवेश प...इसका भान तभी हो गया था जब १९८८ में आईआईटी प्रवेश परीक्षा में अंग्रेजी में पास होने की शर्त हटा ली गयी। उस वर्ष आधे से अधिक हिन्दी बोलने वाले, अंग्रेजी सिसक रही थी वहाँ।प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.com